23 January 2023

WISDOM------

   वन  में  खड़े  एक  वृक्ष  के  साथ  लिपटी  एक  लता  भी   धीरे -धीरे  वृक्ष  के  बराबर  हो  गई  l  वृक्ष  का  आश्रय  लेकर  उसने  भी  फलना -फूलना  आरम्भ  कर  दिया  l  बेल  को  फलते -फूलते  देख  वृक्ष  को  अहंकार  हो  गया   कि  मैं  न  होता  तो   लता  का  अस्तित्व  ही  न  होता  l  वह  लता  को  धमकाते  हुए  बोला --- " ओ  बेल  !  चुपचाप  मेरा  कहना  माना  कर  ,  मैं  जो  कह  रहा  हूँ  ,  वह  किया  कर  ,  नहीं  तो  धक्के  मार  कर  भगा  दूंगा  l "  पेड़  का  प्रलाप  जारी  था   कि  दो  पथिक  वहां  से  निकले   l  एक  बोला  --- " अरे  भाई  ! जरा  देखो  तो  ! यह  वृक्ष  कैसा  सुन्दर  है  ,  इस  पर  कैसी  सुन्दर  लता  पुष्पित  हो  रही  है  l  आओ , इसके  नीचे  थोड़ी  देर  विश्राम  करें  l "  अपना  महत्त्व  लता  के  साथ  है  ,  यह  जानकार  वृक्ष  का  अभिमान  भी  नष्ट  हो  गया  l