18 July 2024

WISDOM -------

  सुंदरवन  में  एक  कौआ   रहा  करता  था   l  उसने  पहले  कभी  बगुले  को  नहीं  देखा  था  l  बरसात  का  मौसम  आया  तो  दूर  देश  से   एक  बगुला  उड़कर   वन  में  आया   l  उसे  देखकर  कौए  को  बड़ा  दुःख  हुआ  l  उसे  लगा  कि  उसका  रंग  कितना  काला  है   जबकि  बगुला  कितना  गोरा  है  l  उसने  जाकर  बगुले  से  कहा ---- " बगुले  भाई  !  आप  तो  बहुत  गोर  हो  l  यह  देखकर  आपको  बहुत  सुख  मिलता  होगा  l "   बगुला  बोला  ---- "  मैं  तो  पहले  से  ही  बहुत  दुःखी  हूँ  ,  जरा  तोते  को  देखो   वो  कितने  सुन्दर  दो  रंगों  से  रंगा  है  ,  मुझ  पर  तो  एक  ही  रंग  है  l "  अब  दोनों  मिलकर  तोते  के  पास  पहुंचे   तो  तोता  बोला  --- "  अरे ,   मैं  तो  तुम  दोनों  से  भी  ज्यादा  दुःखी  हूँ  ,  जरा  मोर  को  देखो   वो  कितने  सुन्दर  रंगों  से  रंगा  हुआ  है  l "  अब  सब  मिलकर  मोर  के  पास  पहुंचे   तो  देखा   कि  मोर  को  मारने  उसके  पीछे  शिकारी  लगा  हुआ  है  l  मोर  के  सुरक्षित  होने  पर  उन्होंने  मोर  से  अपनी  बात  कही   तो  मोर  बोला  ---- " भाइयों  !  मेरा  जीवन  तो  मेरे  रंगों  के  कारण  ही  असुरक्षित  हो  गया  है   l  ये  रंग  न  होते   तो  आज  मैं  तुम  लोगों  की  तरह  चैन  की  बंसी  बजा  रहा  होता  l "    अब  सबकी  समझ  में  आया   कि  भगवान  ने  हर  प्राणी  को  मौलिक  बनाया  है  l  किसी  को  छोटा  , किसी  को  बड़ा  नहीं  बनाया  है   l  यदि  हम  असंतुष्ट  रहना  चाहें   तो  हर  परिस्थिति  में  असंतुष्ट  रहने  के  कारण  ढूंढ  लेंगे,  लेकिन  यदि  संतुष्ट   रहना  चाहें  तो  हर  परिस्थिति  में  संतोष  के  कारण  उपलब्ध  हैं  l