3 February 2022

WISDOM -----

     मन , वचन  और  कर्म   में  एकरूपता  को  सत्य  कहते  हैं   l   यह  सत्य  भी    समय  और  परिस्थिति  को   देखते   हुए ही  बोलने   का निर्देश  है   l  देश  के  रक्षक   यदि  गोपनीय  सूचनाओं  को  शत्रुओं  के    समक्ष  सही   प्रकट   कर   दें     तो   राष्ट्र   की रक्षा  के  लिए  गंभीर  खतरा  उत्पन्न  हो  जायेगा    l  एक  कथा  है ----- एक  बार  एक  कसाई   अपनी  बूढ़ी   गाय  को  ढूंढते  हुए   एक  निर्जन  स्थान  से  गुजरा   l   वहां  एक  ब्राह्मण  वेद पाठ  कर  रहा  था   l   कसाई  ने  उससे  गाय  के  बारे  में  पूछा  ,  तो  उसने  वस्तुस्थिति  को  भांपते  हुए   गोलमोल  उत्तर  दिया  , कहा ---  जिसने  देखा  , वह  बोलती  नहीं   और  जो  बोलती  है  उसने  देखा  नहीं   l   इससे  एक  साथ  दो  प्रयोजन  सधे   l   गाय  की  प्राण रक्षा  भी  हो  गई    और  मिथ्या    न बोलने  का  संकल्प  भी  पूरा  हो  गया   l   ऐसे  ही  कठोर  सत्य  को  न  बोलने  के  निर्देश  हैं   l