अब्राहम लिंकन से उनके मंत्रियों ने कहा ----- " आप शत्रुओं के साथ नम्रता का व्यवहार क्यों करते हैं ? इनका तो सफाया ही कर देना चाहिए |"
लिंकन ने कहा ----- " मैं इनका सफाया ही कर रहा हूँ l सिर्फ मेरे और आपके तरीके सम्बन्धी द्रष्टिकोण में अंतर है l मैं इनकी गर्दन काटने की अपेक्षा इनको मित्र बनाकर इनका स्वरुप ही बदले दे रहा हूँ
लिंकन ने कहा ----- " मैं इनका सफाया ही कर रहा हूँ l सिर्फ मेरे और आपके तरीके सम्बन्धी द्रष्टिकोण में अंतर है l मैं इनकी गर्दन काटने की अपेक्षा इनको मित्र बनाकर इनका स्वरुप ही बदले दे रहा हूँ