4 April 2025

WISDOM -------

 ईश्वर  ने  इस  धरती  पर  अनेकों  बार  विभिन्न  रूपों  में  अवतार  लिए  l  अधर्म  का  नाश  और  धर्म  की  स्थापना  के  लिए  ही  ईश्वर  को  आना  पड़ा  l  कुछ  समय  के  लिए  आसुरी  शक्तियों  का  अंत  हो  जाता  है  लेकिन  अति  शीघ्र   ये  असुर  फिर  से  प्रबल  होकर  आतंक  मचाने  लगते  हैं  l  असुरता   क्या  है  ?  यदि  बच्चों  को  आरम्भ  से  ही  नैतिक  शिक्षा  न  दी  जाए  ,  तो   बालक  समाज  में  व्याप्त  दोष  -दुर्गुणों  को   सीख  जाता  है  ,  उसका  आचरण  दूषित  हो  जाता  है  ,  यही  असुरता  है  l  व्यक्ति  शिक्षा  प्राप्त  कर  बुद्धिमान  तो  बन  जाता  है   लेकिन  नैतिकता  का  ज्ञान  न  होने  के  कारण  वह  अपने  ज्ञान  का  दुरूपयोग  करता  है  l  असुरता  का  सबसे  बड़ा  दोष  यह  है  कि  यह  जंगल  की  आग  की  तरह  भड़कती  है  l  ईश्वरीय  विधान  से  उन्हें  उनके  कर्मों  का  दंड  भी  समय -समय  पर  मिलता  है   लेकिन  इस  दंड  के  बाद  उनके  आसुरी   कृत्य  समाप्त  नहीं  होते    समाप्त  नहीं  होते   l  अपना   अंत    आया  देखकर  और  प्रबल   हो  जाते  हैं  l  श्री  हनुमान जी  ने  रावण  की  लंका  जला  दी ,  उसका  पुत्र  अक्षय  कुमार  और  अनेक  राक्षस  मारे  गए  , इससे  रावण  कमजोर  नहीं  हुआ   , उसने  देवी  की  पूजा -साधना  कर  के  और  अधिक   शक्ति   प्राप्त  कर  ली  l  कंस  ने  तो  आकाशवाणी  सुन  ली  थी  कि  उसको  मारने  वाला  पैदा  हो  चुका  है   लेकिन  अपनी  मृत्यु  को  निकट  जानकार  उसने  कोई  सत्कर्म  नहीं  किए   बल्कि  अबोध  बालकों  की  हत्या  कराना  शुरू  कर  दिया  ,   अत्याचार  और   अधिक  करने  लगा  l  यह  स्थिति  प्रत्येक  युग  में  है  l  आसुरी  प्रवृत्ति  के  लोग  बड़े -बड़े  अपराध  करते  हैं  ,  जीवन  का  अंत  आया  देखकर  भी  सुधरते  नहीं  l  अपनी  सफलता  के  लिए  किसी  को  भी  अपने  रास्ते  से  हटाने  में  परहेज  नहीं  करते  l  यह  तो  स्पष्ट  हो  चुका  है  कि  असुरों  को  मारने  से  असुरता  का  अंत  नहीं  होता  l  यदि  किसी  विधि  से   उनके  विचारों  में  सुधार  हो  जाये , विचार  परिष्कृत  हो  जाएँ  ,  उनमें  सद्बुद्धि  आ  जाए  तो  रूपांतरण  होने  में  कोई  देर  नहीं  लगती  l  पं . श्रीराम  शर्मा  आचार्य जी  ने  सद्बुद्धि  के  लिए   ' गायत्री  मन्त्र  '  को  संसार  के  लिए  सुलभ  कर  दिया  l  इस  मन्त्र में  अद्भुत  शक्ति  है  जिससे  संसार  का  कल्याण  संभव  है  l