25 April 2020

WISDOM ------ मनुष्य जन्म से नहीं , कर्म से अच्छा या बुरा होता है

 कहते  हैं   महाभारत   में  कौरव  वंश  में    दुर्योधन ,  दु:शासन    का  नाम  सुयोधन  और  सुशासन  था  l   वे  एक  उच्च  कुल  में  पैदा  हुए  ,  भीष्म  पितामह  के  संरक्षण  में  रहे ,  आचार्य  द्रोण   ने  उन्हें  शिक्षा  दी   लेकिन  अधर्म  पर  चलने  के  कारण  वे   पूरे   कौरव  वंश  के   अंत  के  लिए  उत्तरदायी   बने   l
           जन्म  से  वे  बुरे  नहीं  थे  ,  लेकिन  उन्हें   मामा   शकुनि  का  साथ  मिला   जिसने  दिन - रात   छल - प्रपंच ,  षड्यंत्र   की  बात  कर  के  दुर्योधन   के  सोचने - समझने  की  शक्ति  को   क्षीण  कर  दिया  l   जिसे  आज  की  भाषा  में  कहते  हैं  ' माइंड  वाश '  कर  दिया   l   दुर्योधन  जिद्दी  और  अहंकारी  बन  गया  ,  उसने  पितामह  भीष्म ,  आचार्य  द्रोण   भगवान   कृष्ण  की  बात  को  भी  नहीं  माना   और  महाभारत  में  भीषण  नर  संहार  करा  के   सुयोधन  से  दुर्योधन  कहलाया   l
 महाभारत  में    शकुनि  के  माध्यम  से   संसार  को  यही  शिक्षा  दी  गई  है   कि   शकुनि  जैसी  मनोवृति  के  लोगों  से  दूर  रहे  ,  ऐसे  लोग  जहाँ   भी  रहेंगे  , अपने  विनाश  के  साथ - साथ   अपने  संपर्क  में  आने  वालों  को  भी  पतन  के  गर्त  में   डाल   देते  हैं   l 

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