19 January 2023

WISDOM ----

कलियुग  की  सबसे  बड़ी  विशेषता  है --- दुर्बुद्धि  !   इस  दुर्बुद्धि  के  कारण  लोग   समाज  में  जो  भी  अच्छे  कार्य  होते  हैं  , उनमे  बुराई  खोजते  हैं ,  देवत्व  को  मिटाने  का  प्रयास  करते  हैं    और  बुराइयों  को  अनदेखा  करते  हैं  , भीष्म  पितामह  की  तरह  चुप्पी  साध  लेते  हैं   इसलिए  अब  प्रत्यक्ष  में  महाभारत  नहीं  होती  ,  अब  प्रकृति   का  क्रोध  विभिन्न  रूपों  में  देखने  को  मिलता  है  l  आज  मनुष्य  पर  लालच , अहंकार , कामना , महत्वाकांक्षा  हावी  है   इस  कारण   वह   दोहरी  जिन्दगी  जी  रहा  है  l  एक  रूप  में  समाज  के  सामने  बहुत  शरीफ , सदाचारी   है  लेकिन  एक  दूसरा  रूप  भी  है  जिसमे  वह  अपने  स्वार्थ  के  लिए    अपराध , भ्रष्टाचार , अश्लीलता ,  प्रदूषण     आदि  समाज  और  संस्कृति  को  हानि  पहुँचाने  वाले  कार्यों  के  प्रति   मौन  रहकर  उन्हें  बढ़ावा  देता  है  l  यही  कारण  है  कि  अब  मनुष्य  का  मनुष्य  पर  से  विश्वास  कम  हो  गया  है  l   ----- एक  डाकू  था  वह  फकीरों  के  वेश  में  डाके  डालता  था  l अपना  हिस्सा  वह  गरीबों  में  बाँट  देता  था  l  हाथ  में  माला  लिए  जपता  रहता  था  l  एक  बार  उसके  दल  ने   एक  काफिला  लूटा  l  एक  व्यापारी  के  पास  बहुत    पैसा  था  l  लूट  चल  रही  थी  ,  उसने  फकीर  को  देखा   तो  सारा  धन  उसके  पास  लाकर  रख  दिया  l  काफिला  लुट  जाने  के  बाद  जब  वह  धन  लेने  पहुंचा   तो  देखा  कि  वहां  तो  लूट  का  माल  बांटा  जा  रहा  है  l  सरदार  वही  था  जो  दरवेश -फकीर  बना  हुआ  था  l  उसी  के  पास  व्यापारी  का  धन  था  l  व्यापारी  बोला --- "  हमने  तो  आपको   दरवेश  समझा  था l  आप  तो  कुछ  और  ही  निकले  l  हमने  डाकुओं  के  सरदार  पर  नहीं  , फकीर  पर , खुदा  के  बन्दे  पर  विश्वास  किया  था  l  अब  यह  धन  आप  रखिए  ,  आपसे  एक  गुजारिश  है  कि  आप  दरवेश  के  वेश  में  मत  लूटिए  l  नहीं  तो  लोगों  का  विश्वास  इस  वेश  पर  से  उठ  जायेगा   l   वह  डाकू  तत्काल  वास्तव  में  फकीर  बन  गया  ,  उसके  बाद  उसने  कभी  डाका  नहीं  डाला  l