26 August 2018

WISDOM ----- जब अधिकारी - कर्मचारी , --- ---- सब ही भ्रष्ट हों ------- ? ? ?

   जर्मनी  के  सम्राट  फ्रेडरिक  महान  यह  जानकर  चिंतित  हो  उठे   कि  उनके  देश  की  आर्थिक  स्थिति   निरंतर  दयनीय  होती  जा  रही  है  l  जब  राजकोष  काफी  कम  रह  गया  तो   उन्होंने  एक  दिन  अपने  राज्य  के  अधिकारीयों  को  विचार - विमर्श  हेतु  बुलाया  और  उनसे  पूछा --- " राजकोष  रिक्त  होने  का   कारण  क्या  है  ? "    दरबार  में  यह  प्रश्न  पूछते  ही  सन्नाटा  छा  गया   और  सभी  एक - दूसरे  का  मुंह  देखने  लगे  l   उन्ही  अधिकारियों  में  उपस्थित   एक  अनुभवी  महामंत्री  ने  सम्राट  से  कहा  कि   वे  इस  प्रश्न  का  उत्तर  देने   को  तैयार  हैं  l  यह  कहकर   उन्होंने  मेज  पर  प्याले  में  रखे  बरफ  के  एक  टुकड़े  को  उठाया   और  उसे  अपने  निकट  बैठे  व्यक्ति  को  देते  हुए  कहा  --- " इसे  अपने  पास  बैठे  हुए  व्यक्ति  को  दे  दें  l  इसे  एक  के  बाद  एक  ---- दूसरे  हाथों  में  बढ़ाते  हुए   अंततः  सम्राट   तक   पहुँचाना  है   l  "
       देखते - ही - देखते  वह  बरफ  का  टुकड़ा  अनेक  हाथों  से  होता  हुआ  सम्राट  के  हाथ  में  पहुंचा   l  वहां  पहुँचते  तक  उसका   आकार   चौथाई  हो   चुका   था   l
  सम्राट  ने  पूछा ---- " बरफ  का  टुकड़ा  तो  यहाँ  आते - आते   छोटा  हो  गया  है  l  इसके  माध्यम  से  आप  क्या  कहना  चाहते  हैं   ?  "  वृद्ध  महामंत्री ने  अपना  मंतव्य  स्पष्ट  करते   हुए  कहा ---- " महाराज  ! जिस  तरह  यह  बरफ  का  टुकड़ा   कई  हाथों  से  होता  हुआ  आपके  हाथों  तक  पहुँचने  में   अपने  मूल  वजन  का  चौथाई  रह  गया  ,  वैसे  ही  प्रजा  से  वसूले  गए  कर  की  राशि  कई  हाथों  से  गुजरने  के  कारण  सरकारी  कोष  तक  पहुँचते - पहुँचते   चौथाई  रह  जाती  है   l "  
  सम्राट  वृद्ध  मंत्री   का  कहा  समझ  गए   और  उन्होंने  कड़े निर्णय  लेते  हुए   भ्रष्ट  कर्मचारियों  की   छंटनी  शुरू  कर  दी   l  कुछ  ही  दिनों  में   राजकोष  में  बढ़ोतरी  होने  लगी   l