11 May 2020

WISDOM ---- अति की महत्वाकांक्षा व्यक्ति को अत्याचारी बना देती है

  साधु , संत , पीर , सत्पुरुष    हमेशा  अंदर  से  प्रेम  से  भरे  होते  हैं   l   सबके  लिए   समान    रूप  से  उनके   मन  में  प्रेम  होता  है  l  हरेक  के  दुःख  में  वे  दुःखी   होते  हैं  l   तैमूरलंग   ने  हजारों  हत्याएं  कीं ,  दिल्ली  और  अन्य  कई  राज्यों  पर  कब्ज़ा  किया  l   जिस  एक  राज्य  को  जीता  ,  वहां  का  राजा  काना  था  l   तैमूर  लंगड़ा  था  l   दोनों  एक  प्रसिद्ध   फकीर   के  पास  मिलने  गए   l   दोनों  ही  भीतर  से  बहुत  अशांत  थे   l  पीर  बोले ---- " खुदा  भी  अजीब - अजीब  काम  करता  है   l   अंधे - लँगड़े   को  सल्तनत  देता  है  l   वह  फकीरों  को  बादशाह  नहीं  बनाता  l   जो  हीन   भावनाओं  वाले  होते  हैं  ,  वे  ही  जरुरत  से  ज्यादा   ख्वाहिशमंद   होते  हैं  l   बड़ा  करामाती  है  खुदा   l   अब  तुम  दोनों  भुगतो   उसके  कहर  को   l  "
          दुनिया  के  कट्टर  और  खूंखार  बादशाहों  में  तैमूरलंग  का  नाम  आता  है  l   व्यक्तिगत  महत्वाकांक्षा  , अहंकार  और  जवाहरात  की  तृष्णा  से  पीड़ित   तैमूर  ने  बगदाद   में   एक  लाख  मरे  हुए  व्यक्तियों  की   खोपड़ियों  का  पहाड़  खड़ा  कराया  था  l 

No comments:

Post a Comment