महाकवि कालिदास ने एक प्रसंग में कहा है , पुरानी होने से हर कोई वस्तु अच्छी नहीं हो जाती और न ही नई होने मात्र से कोई बुरी l केवल मूढ़ व्यक्ति भेड़चाल को अपनाते हैं , जबकि बुद्धिमान विवेक का आश्रय लेते हुए , गुण - दोष की परीक्षा करते हुए स्वयं चुनाव करते हैं l
' जो राष्ट्र केवल अपने समय में वर्तमान में ही जीता है , वह सदा दीन होता है , यथार्थ में समुन्नत वही होता है , जो अपने आपको अतीत की उपलब्धियों तथा भविष्य की संभावनाओं के साथ जोड़कर रखता है l '
' जो राष्ट्र केवल अपने समय में वर्तमान में ही जीता है , वह सदा दीन होता है , यथार्थ में समुन्नत वही होता है , जो अपने आपको अतीत की उपलब्धियों तथा भविष्य की संभावनाओं के साथ जोड़कर रखता है l '
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