एक बार नाना साहब हाथी पर सवार होकर कहीं घूमने जा रहे थे । वे मनु को नहीं ले गये । बालिका रूठ गई । पिताजी ने समझाया ---- " हम गरीब हैं , हमारे भाग्य में हाथी कहाँ ? "
इस पर मनु ने तमक कर कहा ---- " एक क्या ऐसे सैकड़ों हाथी हैं मेरे भाग्य में । "
आत्मविश्वास पूर्वक कही गयी यह बात सच निकली । वह बड़ी होने पर झाँसी के राजा गंगाधरराव की पत्नी बनी और सैकड़ों हाथियों की स्वामिनी भी ।
मनु नामक उक्त बालिका ही झाँसी की रानी लक्ष्मीबाई थीं , जिन्होंने यह सिद्ध कर दिया कि आत्मविश्वास की भावना दृढ़ हो तो मनुष्य एक साधारण स्थिति से ऊपर उठकर उच्च स्थिति तक पहुँच जाता है ।
इस पर मनु ने तमक कर कहा ---- " एक क्या ऐसे सैकड़ों हाथी हैं मेरे भाग्य में । "
आत्मविश्वास पूर्वक कही गयी यह बात सच निकली । वह बड़ी होने पर झाँसी के राजा गंगाधरराव की पत्नी बनी और सैकड़ों हाथियों की स्वामिनी भी ।
मनु नामक उक्त बालिका ही झाँसी की रानी लक्ष्मीबाई थीं , जिन्होंने यह सिद्ध कर दिया कि आत्मविश्वास की भावना दृढ़ हो तो मनुष्य एक साधारण स्थिति से ऊपर उठकर उच्च स्थिति तक पहुँच जाता है ।
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