कोई भी परिस्थिति जिसमे हम वर्षों तक रहें , फिर हमें उसकी आदत बन जाती है और उसी के अनुरूप व्यवहार हो जाता है l युगों तक हम गुलाम रहे l आजादी तो मिल गई , हम पर राज करने वाले तो चले गए लेकिन उन परिस्थितियों में रहने की जो आदत बन गई थी , वह नहीं गई l पहले हम अपनी कमजोरियों के कारण , राजाओं की विलासिता और आपसी फूट के कारण गुलामी का जीवन जीने को विवश थे लेकिन आज व्यक्ति अपने स्वार्थ , लोभ और लालच के कारण अपने से धनी और शक्तिशाली व्यक्ति की गुलामी करता है l सबसे ज्यादा जरुरी है स्वाभिमान होना l मनुष्य की यह कमजोरी है कि वह बुरी आदत जल्दी सीखता है , अच्छाई ग्रहण नहीं करता l
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