' जो दूसरों की सहायता करते हैं, उन्हें संकट में सहायता अवश्य मिलती है l '----- एक नदी के किनारे वृक्ष की डाल पर एक कबूतर बैठा था l उसने देखा कि नदी में एक चींटी डूब रही है और बड़े प्रयास के बावजूद भी किनारे पर नहीं आ पा रही है l कबूतर ने एक पत्ता चींटी के पास पानी में गिरा दिया l चींटी उस पत्ते पर चढ़ गई , पत्ता बहकर किनारे पर लग गया l चींटी ने पानी से बाहर आकर कबूतर का आभार व्यक्त किया कि वह इस एहसान को कभी नहीं भूलेगी l एक दिन जब चींटी अपने बिल के बाहर घूम रही थी , तभी उसने देखा एक बहेलिया चुपके से कबूतर को अपने बाँस में फँसाने का प्रयास कर रहा है l कबूतर अपनी धुन में था , उसने बहेलिये को नहीं देखा l चींटी ने कबूतर को बचाने के उद्देश्य से बहेलिये के पैर में काट लिया , जिससे बाँस हिल गया और पेड़ के पत्ते खड़क गए और कबूतर सावधान होकर उड़ गया l
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